MAAHI

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मोहब्बत सजा है

 मोहब्बत सजा है

ये माना है मैंने मोहब्बत सजा है,
मगर दिल न माने, ये दिल की खता है।

पास जीतना जाऊँ नशा-ही-नशा है,
दूर जा के देखो समन्दर सा बड़ा है।

कोई कहता है ये जन्मों का साथी,
खुदा का फरिश्ता, ये दिल का दवा है।

कोई कहता है, दर्दे ये दिल है,
आँखों का आँसू रोग ये बुरा है

कातिल अदाएं इसकी, जान ले के माने,
छोड़ दे ये बीच भवँर में कस्ती डूबा दे।

ये माना है मैंने मोहब्बत सजा है,
मगर दिल न माने ये दिल बईमान है।

माही

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2 Comments

Ramsewak gupta

21-Nov-2021 04:22 PM

Very good

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🤫

13-Nov-2021 09:54 PM

नाइस...

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